Sunday, October 29, 2017

कटाक्ष

कल तक जिस पुष्प को सूंघकर
खुशबू की प्रशंसा किया करता था
आज दुसरे पुष्प को सूंघ
अपनी नासिका को दे दिया है
किसी अन्य के हाथ में 

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