महात्मा गांधी विश्व विद्यालय के उपकुलपति श्रीमान विभूति राय जी ,जो कि १९७५ बेच के आई ,ऐ ,एस भी है ,उन्होंने हिंदी कि लेखिकाओं को वैश्या तक कह डाला (हिंदी कि लेखिकाओं को उन्होंने कहा कि ये लेखिकाओं ने अपने आप को बड़ी वैश्या साबित करने कि होड़ लगा राखी है )"
ये सम्पूर्ण नारी जाती का अपमान है ,ऐसा उन्होंने क्या देखा कि ऐसी अभद्र भाषा का प्रयोग करना पडा ,लेखिका आखिर लेखिका होती है और वो हमेशा ऐसा ही लिखेगी जिससे कि समाज का भला हो ,दुसरे समाज को अच्छे गुण ,चारित्रिक गुण ,समाज सेवा ,सब कुछ नारी ही तो देती है ,
ये नारी जाती का केवल अपमान ही नहीं बल्कि भारत के लोकतंत्र का मजाक उड़ाना है जहां आज नारी पुरुषों से आगे चल रही है और सरकार भी उनके कार्यों कि सराहना कर रही है वहाँ प़र संकुचित दिमांग वाले पड़े लिखे लोग नारी जाती का अपमान कर रहे हैं ,
केवल लेखिकाओं को ही नहीं बल्कि सम्पूर्ण नारी जाती को इस पड़े लिखे आदमी के खिलाफ आन्दोलन चलाना चाहिए और ,उसे सबक सिखाना चाहिए ताकि भविष्य में ये व्यक्ति असभ्य भाषा का प्रयोग ना करे ,
हमारी सरकार ने यदि लोकतंत्र कि रक्षा करनी हे ती इस आदमी को यकदम जिस पद प़र भी है हटा देना चाहिए और यदि उसके प्रति कोई मुकद्दमा बनता है तो ऍफ़ ,आई ,आर दर्ज कराकर गिरफ्तार करना चाहिए
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1 comment:
एक जिम्मेवार पद और वह भी शिक्षा क्षेत्र से जुड़ा हुआ व्यक्ति इस तरह का बयान दे यह बेहद शर्मनाक है | अगर उनको कोई विचार रखना था तो तथ्यों के आधार पर दोषियों के खिलाप रखते पूरी नारी जाती के लेखकों को इस तरह संबोधित करना मानसिक दिवालियेपन का घोतक है | यहाँ मैं यह जरूर कहना चाहूँगा की कई महत्वपूर्ण लेखिका और पत्रकार सेक्स रेकेट भी चला रही है जो शर्मनाक है | भ्रष्टाचार,सेक्स और योग्यता का दुरूपयोग देश,समाज और इंसानियत सबके लिए खतरनाक है |
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