भूमि का क्षय
जिस प्रकार से बरसात के दिनों में बाढ़ आती है तो पानी का बहाव बहुत तेज होता है जिसके कारण धरती का बहुत धीरे धीरे क्षय होता है ,इसे ईरोसिन , कहते हैं ,इसमें क्या होता है की पानी वहां की मिटटी को अपने साथ बहा कर ले जाता है और जब वहां देखा जाता है तो जमीन खत्म हो जाती है ,इसे भी वही भूमि का कटाव कहते हैं ,
ठीक उसी प्रकार से आज मोदी जी के राज में हमारे देश की सम्पूर्ण व्यवस्थाओं का धीरे धीरे क्षय हो रहा है यानी की हमारी सभी व्यवस्थाएं अस्त पस्त ,निर्जीव होती जा रहीं हैं परन्तु वो ना तो भाजपाइयों को नजर ा रहा है और नाहीं अंध भक्तों को या फिर जिनको देश से प्रेम नहीं है ,देश भक्ति दिखावे के लिए प्रदर्शित करते हैं ,
मेरा कहने का तातपर्य महज ये है की जब हम सुसुप्त अवस्था से जाग्रत होंगे तो अपना देश और यहाँ की जनता लूटी पीती नजर आएगी और लुटाने या पिटाने वाले कहेंगे की हम तो निर्दोष हैं
फिर आप कुछ भी नहीं कर पाओगे ,इसलिए बँधो अभी जागने का वक्त है जागो और इस सोने की चिड़िया को लूटने या गुलाम होने से पहले ही बचा लो ,ताकि तुम्हारी आने वाली पीढ़ियां तुम पर ऊँगली ना उठा पाएं और गर्व से कहें की हम उनकी संतान है
इसलिए मेरे भाइयो आप अपने अधिकार को उन्ही लोगो ,या नेताओं को दें जिनके हाथों में आपको देश और खुद सुरक्षित नजर आता है
धन्यवाद सहित
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